[ia_covid19 type="table" loop="5" theme="dark" area="IN" title="India"]
जानकारीराष्ट्रीय

कोरोना ने दिया शानदार मौका, भारत को बनाना है मैन्युफैक्चरिंग हब

PM मोदी के मंत्री बोले- कोरोना ने दिया शानदार मौका, भारत को बनाना है मैन्युफैक्चरिंग हब

  • कोरोना के बाद भारत निवेश के लिए एक बेहतर विकल्प बन सकता है
  •  ठाकुर की मानें तो निवेश को आकर्षित करने के लिए कई कदम उठाए हैं

कोरोना संकट के बाद भारत को मैन्युफैक्चरिंग हब बनाने में सरकार जोर-शोर से जुट गई है. पिछले दिनों खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि कोरोना ने देश को आत्मनिर्भर बना दिया है और अब वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर का कहना है कि सरकार कोविड-19 के प्रकोप के बाद भारत को अगला मैन्युफैक्चरिंग हब बनाना चाहती है.

दरअसल, कोरोना की वजह से पूरी दुनिया में आर्थिक गतिविधियां भी थम गई हैं. लेकिन इस बीच भारत निवेश के लिए एक बेहतर विकल्प बन सकता है. बड़े अर्थशास्त्री भी कह रहे हैं कि भारत के पास बड़ा मौका है और इसे भुनाना चाहिए. अगर भारत इस मौके को भुनाता है तो आने वाले वर्षों में चीन की आर्थिक ताकत कमजोर होगी और उसका एकछत्र कारोबार पर अंकुश लगेगा.

अनुराग ठाकुर ने कहा- निवेश पर सरकार का फोकस

अनुराग ठाकुर शनिवार को फेडरेशन ऑफ तेलंगाना चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (FTCCI) के सदस्यों और तेलंगाना के उद्योग जगत के दिग्गजों के साथ बातचीत कर रहे थे. इस दौरान उन्होंने कहा कि सरकार देश को पसंदीदा निवेश बनाने के लिए श्रम कानूनों को मजबूत कर रही है.

उन्होंने कहा कि अब तक कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई सफल रही है. दुनिया भर की कंपनियों को अपनी व्यापार नीति से आकर्षित करने के लिए देश तैयार है. अनुराग ठाकुर की मानें तो सरकार ने निवेश को आकर्षित करने के लिए कई कदम उठाए हैं, और अभी भी इस पर काम तेजी से हो रहा है.

चीन से भारत आने को कई कंपनियां तैयार

अनुराग ठाकुर ने कहा, ‘कोविड-19 ने हमें एक चुनौती के साथ ही अवसर भी प्रदान किए हैं और अब हमें उस मौके को भुनाना है.’ इससे पहले नीति आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष अरविंद पनगढ़िया ने भी कहा था कि भारत को कोरोना संकट का फायदा उठाते हुए चीन से बाहर निकलने वाली कंपनियों को अपने यहां आकर्षित करना चाहिए. उन्हें भरोसे में लेना चाहिए.वहीं बिजनेस टुडे में छपी एक खबर के मुताबिक कोरोना वायरस के कारण चीन में विदेशी कंपनियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. लगभग 1000 विदेशी कंपनियां भारत में एंट्री की सोच रही हैं. इनमें से करीब 300 कंपनियां भारत में फैक्ट्री लगाने को लेकर पूरी तरह से मूड बना चुकी हैं.

क्यों भारत पसंद?

केंद्र की मोदी सरकार लगातार विदेशी निवेशकों में लुभाने में जुटी है. इसके लिए सरकार ने कई बड़े ऐलान भी किए हैं. बीते साल कॉर्पोरेट टैक्स को घटाकर 25.17 फीसदी कर दिया था. वहीं नई फैक्ट्रियां लगाने वालों के लिए ये टैक्स घटकर 17 फीसदी पर ला दिया गया है. यह टैक्स दक्षिण-पूर्व एशिया में सबसे कम है.

Show More

Related Articles

Close